Pyar or Taqraar - प्यार ओर तकरार
Sunday 28 February 2016
जीने की नयी अदा दी है,
खुश रहने की उसने दुआ दी है,
ऐ खुदा मेरे दोस्तों को सालामत रखना,
जि न्हो ने
अपने दिल में मुझे जगह दी है
3 comments:
दिगम्बर नासवा
29 February 2016 at 00:36
बहुत खूब ... आमीन ... अच्छा मुक्तक ...
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Unknown
1 March 2016 at 18:32
वाह दिल को छु गई,,,
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Unknown
1 March 2016 at 18:54
वाह दिल को छु गई,,,
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बहुत खूब ... आमीन ... अच्छा मुक्तक ...
ReplyDeleteवाह दिल को छु गई,,,
ReplyDeleteवाह दिल को छु गई,,,
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